
World Osteoporosis Day 2020

Dr. Gaurav Rastogi
Oct 27, 2020
ट्रामा और ऑर्थोपेडिक, चिकित्सा की एक ऐसी विशेषता है जो हड्डियों, जोड़ों, मांसपेशियों, स्नायुबंधन, नसों आदि सहित मस्कुलोस्केलेटल सिस्टम के रोगों और विकारों से संबंधित है।
ज्ञान को अद्यतन करने के लिए अंतर्विभागीय बैठकों, सतत चिकित्सा शिक्षा (CME) और स्टाफ प्रशिक्षण सत्रों का नियमित रूप से आयोजन किया जाता है।
यह एक ऐसी सर्जिकल प्रक्रिया है जिसमें कशेरुका के पिछले हिस्से, लैमिना को हटाया जाता है। इस सर्जरी को डीकंप्रेसन सर्जरी के रूप में भी जाना जाता है और इससे स्पाइनल कैनाल में अस्थि की अतिवृद्धि (बोन स्पर) के कारण मेरुदण्ड पर पड़ने वाले दबाव से राहत मिलती है। लैमिनेक्टॉमी की प्रक्रिया आमतौर पर ऐसे वृद्ध लोगों में अधिक की जाती है, जिनमें अस्थि के स्पर विकसित…
Overview: o कास्ट को हटाना बहुत ही सरल प्रक्रिया है, जिसमें केवल 15 मिनट लगते हैं, और इसमें कोई दर्द या साइड इफेक्ट नहीं होता है और इसे डॉक्टर द्वारा किया जाएगा। प्रक्रिया के पहले: o कृपया कास्ट हटाए जाने के दिन ढीले, आरामदायक कपड़े पहनें। o कृपया अपने डॉक्टर के नुस्खे और प्रासंगिक रिपोर्ट साथ रखें। प्रक्रिया के दौरान: o ऑर्थोपेडिक कास्ट को हटाने के…
घुटने और कूल्हे के पूर्ण प्रतिस्थापन क्या है? घुटने और कूल्हे का पूर्ण प्रतिस्थापन ऐसी शल्य प्रक्रियायें हैं जिनमें घुटने और कूल्हे के घिसे हुए या क्षतिग्रस्त जोड़ों के स्थान पर धातु या प्लास्टिक से बने कृत्रिम अंग (कृत्रिम जोड़) लगा दिए जाते हैं। घुटने के जोड़ के जिन हिस्सों को बदला जा सकता है उनमें फीमर (जांघ की अस्थि का निचला हिस्सा), टिबिया (पिंडली…
आर्थोस्कोपी क्या है? आर्थ्रोस्कोपी ग्रीक भाषा से व्युत्पन्न शब्द है और इसका सीधा सा अर्थ है "जोड़ों के भीतर देखना। यह एक प्रकार की कीहोल सर्जिकल प्रक्रिया है, जिसमें ऑर्थोपेडिक सर्जन एक कैमरा और उज्ज्वल प्रकाश स्रोत लगे आर्थ्रोस्कोप का उपयोग करके जोड़ के रोग की स्थितियों को देखने, रोग का सटीक निदान करने और उपचार करने के लिए करते हैं। आर्थोस्कोपी का…
अस्थि एक ऐसा ऊतक है जो हमारे शरीर को संरचनात्मक सहायता प्रदान करता है, कोमल ऊतकों की रक्षा करता है और खनिज का भंडार है। ऑस्टियोपोरोसिस' जिसका अर्थ 'छिद्रपूर्ण अस्थि' होता है, यह अस्थि की बीमारी है जिसमें अस्थि खनिज घनत्व कम हो जाता है। यह स्थिति अस्थि को कमजोर और भंगुर बना देती है और मामूली गिरावट के कारण ही फ्रैक्चर होने का खतरा बढ़ जाता है। यह एक…
यह कंकाल में ऐसे गलत संरेखण को ठीक करने के लिए की जाने वाली जिसमें कोई अस्थि अपनी विपरीत अस्थि की तुलना में लंबी या छोटी होती है। अस्थि को सामान्य स्थिति में लाने के लिए उसे काटकर या फिर से आकार देकर गलत संरेखण को ठीक किया जाता है। भविष्य में कूल्हे या घुटने की प्रतिस्थापन सर्जरी को आगे के लिए टालने या उससे बचने के लिए अक्सर ओस्टियोटमी की जाती है।
यह स्थिति को फटी हुई या स्थान से खिसकी हुई (स्लिप्ड डिस्क) के रूप में जाना जाता है। इससे आस-पास की नसों में परेशानी होने लगती है और इसके परिणामस्वरूप पैर या हाथ में दर्द, कमजोरी या सुन्नता होती है। हर्नियेटेड डिस्क का के उपचार आमतौर पर गतिविधि में कमी करना, फिजियोथेरेपी लेना, डिस्क की और सर्जिकल मरम्मत करवाना है।
मांसपेशियों, हड्डियों और स्नायुबंधन में लगी ऐसी जटिल चोटें जो एथलीटों के प्रदर्शन में बाधा डालती हैं उनका उपचार करने के लिए विशेषज्ञों द्वारा उन्नत शल्य चिकित्सा प्रक्रियायें सम्पन्न की जाती हैं। खेल से संबंधित चोटों का उपचार करने और इनसे होने वाली क्षतियों से बचने के लिए विभिन्न तकनीकों और विशेष कार्यक्रमों का विकास किया जाता है। विशेषज्ञों का उद्देश्य…
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मणिपाल हास्पिटल्स में अस्थि रोग विभाग के कार्यक्षेत्र में सामान्य और शल्य चिकित्सा दोनों प्रकार के उपचार आते हैं। जनरल ऑर्थोपेडिक्स कंधों, घुटनों, स्पोर्ट्स मेडिसिन, ट्रॉमा, पीडियाट्रिक, जोड़ प्रतिस्थापन सर्जरी, फिजियोथेरेपी और कूल्हे के पूर्ण प्रतिस्थापन की आवश्यकता को पूरा करता है। इन सर्जरियों के कार्यक्षेत्र में आर्थ्रोप्लास्टी, ऑर्थोबायोलॉजिक्स, कार्टिलेज को ठीक करना और जोड़ संरक्षण प्रक्रियाएं तथा जटिल आर्टिकुलर पुनर्निर्माण सहित फ्रैक्चर सर्जरी, उपेक्षित आघात और पॉलीट्रॉमा प्रबंधन के लिए बचाव प्रक्रियाएं आती हैं। सब-स्पेशियलिटी सर्जरी में बच्चों में जन्मजात और विकास संबंधी विकारों का उपचार, अंग संरक्षण और ऑन्कोलॉजिकल पुनर्निर्माण, हाथ और कलाई के विकार का उपचार किया जाता है और, मणिपाल हॉस्पिटल्स की न्यूनतम इनवेसिव प्रक्रियाएं जब भी संभव हो, दर्द को कम करती हैं और स्वास्थ्य लाभ की गति को तीव्र करती हैं। सभी मेडिकल, सर्जिकल और नर्सिंग क्षेत्रों से सर्जरी से पहले और सर्जरी के बाद दी जाने वाली सहायता सभी सर्जरी रोगियों को शीघ्र स्वस्थ होने में मदद करती है।
After gathering general information about the patient's health, our orthopaedician will review the patient's medical history, and do a complete physical examination. Then the doctor might order the necessary investigations to determine the health of your body.
Yes, you can resume most of your daily activities such as walking, sitting, standing, driving, etc., after about 3-6 weeks of surgery. However, make sure to avoid high impact activities including jumping, sports, jogging, skiing, etc.
Trigger finger is a condition where the fingers catch or lock when bent or straightened most commonly affects the ring finger and thumb.
Babies with torticollis may:
Be unable to turn their head in one direction
Have difficulty in breastfeeding on one side
Prefer to be breastfed only on one breast
Develop a flat head from lying in one direction all the time
Develop a small bump or lump on the neck
If you notice any of the signs, visit the best orthopedic hospital in Delhi.
A multi-ligament knee injury is a complex form of injury involving two or more knee ligaments. It is considered complex because it may also lead to nerve and/or blood vessel damage. Get the best treatment at the top orthopedic hospital in Delhi.
Blount disease is a growth disorder characterized by bowing of the lower leg that may worsen over time. Get the best treatment at the orthopedic hospital in Delhi.